आजकल वक्त किसी के पास नहीं है। चाहे स्कूल में पढ़ने वाला बच्चा हो या कॉलेज में अथवा ऑफिस जाने वाला शख्स हर कोई दौड़ा-दौड़ा भागा-भागा सा है। टाइम कम होता है तो लोग सबसे पहले कसरत से समझौता करते हैं और उसके बाद नाश्ते से। बहरहाल जनता जर्नादन अब पहले के मुकाबले ज्यादा जागरूक हो गई है। लोग ये समझने लगे हैं कि सेहत से समझौता करेंगे तो जिंदगी की रेस में ज्यादा दूर तक नहीं दौड़ पाएंगे।
सेहतमंद नहीं रहेंगे तो जो कुछ भी कमाएंगे खा नहीं पाएंगे। उल्टे हो सकता है इलाज में लगाना पड़ जाए। हम आपके वक्त और सेहत दोनों की कद्र करते हुए आपको आज ऐसा वर्कआउट शेड्यूल बता रहे हैं, जिसे आप आसानी से महज 15 से बीस मिनट में खत्म कर सकते हैं। अगर आपके पास एक लंबी रॉड (बारबेल) है और थोड़ा सा वेट है तो ये शेड्यूल घर पर भी फॉलो हो सकता है।
इसमें लगने वाले वक्त को देखकर ये समझने की भूल कतई न करें कि 15 मिनट में क्या होता है। यकीन जानिए जैसे हम बता रहे हैं उसका अस्सी फीसदी भी फॉलो करेंगे तो बीस मिनट में तेल निकल जाएगा और वो भी सर्दियों में। गर्मियों में तो दम ही निकल जाएगा। यह शेड्यूल पावर, वेट और स्टेमिना की परख करता है।
कैसे करें 15 मिनट में कसरत
यह पांच कसरतों का शेड्यूल है। सिर्फ बारबेल और वेट के सहारे किया जाता है। एक बार हाथ में बारबेल उठाने के बाद एक चक्र खत्म करने के बाद ही वह जमीन पर जाएगी। पांचों कसरतों के बीच में कोई रेस्ट नहीं होगा और ये सब थोड़ी रफ्तार से की जाएंगी। पांच कसरतें हैं, हर कसरत में पांच रैप (रिपिटीशन) हैं तो कुल मिलाकर पच्चीस बार वेट को लिफ्ट करने पर एक चक्र पूरा होगा। एक चक्र के दौरान कोई रेस्ट नहीं होगा। चक्र के बाद एक से दो मिनट का रेस्ट लें और फिर अगले चक्र पर लग जाएं। कुल पांच चक्र चलेंगे। इस हिसाब से आप कुल 125 रैप निकालेंगे। अब आपको ये थोड़ा वजनी लग सकता है। हां, आपको कितना वेट लगाना है ये एक दो बार करने में आप खुद समझ जाएंगे। वेट न बिल्कुल हल्का होगा न भारी। क्योंकि आपको बिना रुके पांच कसरतें करती हैं इसलिए आप जितना वेट उठा सकते हैं उसका चालीस फीसदी कम करके इस शेड्यूल को लगा सकते हैं। बहरहाल ये कोई बड़ा सवाल नहीं है, वक्त के साथ सब पता चल जाएगा।
यह रहा आपका एक्सरसाइज शेड्यूल
1 बेंट ओवर बारबेल रो (bent over barbell row): यह बैक और पावर की बेहतरीन एक्सरसाइज है। रॉड को जमीन पर रखें और झुक कर कंधों की चौड़ाई से दो इंच ज्यादा दूरी से पकड़ें। अब पोजीशन बनाएं। आपकी कमर गोल नहीं होनी चाहिए। घुटनों को हल्का सा मोड़ लें। कमर को थोड़ा दबाएं और छाती को बाहर की ओर निकालें। हिप्स को भी बॉडी के बाहर की ओर धकेल कर रखें। इस बात का खास ख्याल रहे कि कमर में कूबड़ न बने बेशक हल्का सा गड्ढा रहे। अब वेट को अपनी लोवर चेस्ट के नजदीक लाएं और हल्का से टच कराते ही वापस जमीन की ओर ले जाएं। यह कसरत खासतौर पर आपकी बैक के लिए और उसके बाद ट्राइसेप्स और थाई पर काम करती है। वेट जब बॉडी के पास आए तो सांस छोड़ें और वापस जाए तो सांस खींचें। इस कसरत को करते वक्त अपनी बगल के नीचे से शुरू होने वाले हिस्से पर ध्यान दें। जब रॉड नीचे जाएगी तो वो हिस्सा बाहर की ओर निकलेगा। कैसे करें सही ढंग से बेंट ओवर रो।
2 डेड लिफ्ट (Dead lifts): ताकत की अग्नी परीक्षा करने वाली कसरत है। लोवर बैक में दर्द की अचूक दवा है और गलत करने पर लोवर बैक में दर्द की पूरी गारंटी है। आप वहीं खड़े हैं जहां खड़े थे। हाथ में आपके रॉड है। इस कसरत में आप वेट जमीन से टच कराएंगे और फिर सीधे खड़े हो जाएंगे। झुकते वक्त आपके हिप्स बाहर की ओर भागेंगे, कमर में गड्ढा बनेगा। घुटने हल्के से मुड़े रहेंगे, बाजू सीधे रहेंगे और जब आप सीधे खड़े हो रहे होंगे तो सबसे पहले आपके हिप्स मूव करेंगे। इस कसरत को समझने में थोड़ा वक्त लगता है पर आप यकीन करें कि यह छह कसरतों के बराबर है। इसे करते वक्त आप हर बार वेट जमीन से टच करेंगे तभी तो इसे डेड लिफ्ट कहते हैं। जब सीधे खड़े हों तो ये बात याद रखें कि बस सीधा खड़ा होना है पीछे की ओर झुकना नहीं है। अगर आप पीछे की ओर झुके तो आपकी कमर में चोट लग सकती है। कैसे करें सही ढंग से डेड लिफ्ट।
3 फ्रंट स्क्वेट (Front squats) : डेड लिफ्ट के तुरंत बाद वेट को अपने फ्रंट शोल्डर पर टिका लें। आपकी कोहनियां और कलाइयां मुड़ी रहेंगी। वेट को होल्ड करने में आपको बाजुओं की ताकत का भी इस्तेमाल करना होगा। इस कसरत को करते वक्त आप हल्का सा पीछे की ओर झुके रहेंगे क्योंकि वेट आपकी गर्दन के पास होगा। पैरों के बीच में एक फुट की दूरी रखें और वेट लेकर बैठें व उठें। पहली दोनों कसरतों की तरह इसके भी पांच रैप निकालें। इस कसरत में कई बार कलाई पर ज्यादा जोर पड़ जाता है। आप चाहें तो रिस्ट बैंड (अच्छी क्वालिटी का) पहनकर रखें।
4 बारबेल शोल्डर प्रेस (Barbell shoulder press): पैरों के बीच में एक फुट का गैप रखकर खड़े हो जाएं। रॉड उठाएं और हाथ ऊपर सीधे करें। फिर रॉड को अपनी अपर चेस्ट पर लाएं और हल्का सा छूते ही वापस ऊपर की ओर ले जाएं। ये खासतौर पर कंधों की कसरत है। इसके भी आपको पांच रैप ही निकालने होंगे। वेट छाती के नजदीक आएगा तो सांस लें और जब ऊपर की ओर ले जाएं तो सांस छोड़ें। कैसे करें सही ढंग से बारबेल शोल्डर प्रेस।
5 स्क्वेट (Squats) : डेट लिफ्ट और स्क्वेट सबसे पावरफुल कसरतें हैं। कहने को यह सिर्फ पैरों पर काम करती है मगर जानकार जानते हैं कि यह पूरे शरीर की कसरत है। ये कसरत ग्रोथ हार्मोंस को एक्टीवेट करती है। मसल्स ग्रोथ को बढ़ाती है और ताकतवर बनाती है। पैरों में एक फुट की दूर रखकर खड़े हो जाएं। रॉड को कंधों पर गर्दन से छुआते हुए ऐसे रखें जैसे चरवाहा अपनी लाठी रखता है। नजर सामने की ओर रखते हुए नीचे बैठें और उठें। ऊपर उठते वक्त सांस छोड़ें और नीचे बैठते वक्त सांस लें। पांच रैप इसके भी। कैसे करें सही ढंग से स्क्वेट।
हमने जिन पांच कसरतों का जिक्र किया है वो आपकी बॉडी के हर हिस्से पर काम करती हैं। ये शेड्यूल अपने आप में मुकम्मल है। हां आप कह सकते हैं कि इसमें खासतौर पर चेस्ट की एक्सरसाइज नहीं होती। यह बात हम मानते हैं, मगर यह भी बताते चलें कि ये सब कसरतें चेस्ट में भी दम भरती हैं। फिर भी आपको अगर चेस्ट की एक्सरसाइज करनी ही है तो एक कसरत कम कर दें और आखिर में पांच रैप पुशअप्स लगा लें। आप फ्रंट स्क्वेट छोड़ सकते हैं।
नोट – अगर आप इस शेड्यूल को अपनाते हैं तो शुरू में आप इसे रोज कर सकते हैं मगर जब आप इसे बिल्कुल ठीक तरह से करने लगें तो सप्ताह में तीन दिन ही करें। एक दिन रेस्ट करें और बाकी दिन कोई और शेड्यूल अपनाएं। इन पांचों कसरतों को आप अपनी मर्जी से आगे पीछे कर सकते हैं।